सूरत: मांगरोल सामूहिक दुष्कर्म मामले में कोर्ट का बड़ा फैसला, 2 आरोपी दोषी करार

सूरत: मांगरोल सामूहिक दुष्कर्म मामले में कोर्ट का बड़ा फैसला, 2 आरोपी दोषी करार
Shubham Pandey JHBNEWS टीम,सूरत 2025-02-15 15:25:21

सूरत के मांगरोल में हुए चौंकाने वाले सामूहिक दुष्कर्म केस में सूरत की स्पेशल पॉक्सो कोर्ट ने 2 आरोपियों को दोषी करार दिया है। साढ़े चार महीने पहले नवरात्रि के समय कोसंबा पुलिस स्टेशन क्षेत्र में नाबालिग लड़की के साथ हुए गैंगरेप मामले में कोर्ट ने तेजी से ट्रायल पूरा करते हुए महज 130 दिनों में ही फैसला सुना दिया है।

गैंगरेप मामले में पुलिस ने कुल तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया था, जिनमें से एक की ट्रायल के दौरान बीमारी के कारण मृत्यु हो गई। इसलिए दो आरोपियों पर मुकदमा चला और आज कोर्ट ने दोनों को दोषी करार दिया। दोनों आरोपियों की सजा का ऐलान सोमवार को किया जाएगा। मांगरोल के इस चर्चित दुष्कर्म मामले में 4 महीने के भीतर ही कोर्ट ने फैसला सुनाया है। इस मामले में मात्र 15 दिनों के भीतर 3000 पन्नों की चार्जशीट दाखिल की गई थी और 17 महत्वपूर्ण सबूत पेश किए गए थे। कोर्ट सोमवार को दोनों आरोपियों की सजा का ऐलान करेगी।

जानिए क्या है पूरा मामला?

सूरत के पास स्थित मांगरोल के मोटा बोरसरा गांव में 8 अक्टूबर की देर रात, एक 17 वर्षीय नाबालिग लड़की अपने मित्र के साथ रात करीब 10:45 से 11:15 बजे के बीच गांव की सीमा में रुकी थी, क्योंकि उनकी बाइक में पेट्रोल खत्म हो गया था। तभी अचानक तीन दरिंदे वहां पहुंचे। पीड़िता और उसके मित्र ने भागने का प्रयास किया, जिसमें पीड़िता का मित्र भागने में सफल रहा। इस दौरान आरोपियों ने पीड़िता के मित्र का मोबाइल भी छीन लिया। इसके बाद इन दरिंदों ने बारी-बारी से नाबालिग के साथ दुष्कर्म किया और उसे अर्धनग्न हालत में छोड़कर फरार हो गए।

हालांकि, नाबालिग पीड़िता के मित्र ने गांववालों से मदद मांगी और उसे अर्धनग्न हालत में अस्पताल पहुंचाया। घटना की जानकारी मिलते ही रेंज आईजी, जिला पुलिस प्रमुख, एलसीबी, एसओजी सहित पुलिस दल मौके पर पहुंच गया। इस घटना की जांच के लिए पुलिस ने डॉग स्क्वॉड की मदद ली। पुलिस ने आसपास के क्षेत्र के सीसीटीवी फुटेज के आधार पर भी जांच शुरू की। पुलिस को जो बाइक मिली, उसके आधार पर दो आरोपियों की पहचान की गई। गहन जांच के बाद तीनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया। पुलिस ने पीड़िता के मित्र के साथ मिलकर घटनास्थल से आवश्यक सबूत इकट्ठा किए। इसके अलावा, एफएसएल (फॉरेंसिक साइंस लेबोरेटरी) की टीम भी मौके पर जांच कर रही थी। पुलिस ने इस मामले में आजीवन कारावास तक की सजा की धारा लागू की थी।

पुलिस के अनुसार, 10 अक्टूबर 2024 के दिन दोपहर 4 बजे के बाद तीन आरोपी में से एक आरोपी शिव शंकर चौरसिया को सांस लेने में दिक्कत हो रही थी ज्यादा तबीयत बिगड़ने पर सूरत पुलिस उसे सूरत सिविल अस्पताल में जांच के लिए लाया और अधिक तबियत बिगड़ने के कारण उसे वेंटिलेटर पर रखा गया, कुछ ही समय में आरोपी शंकर की मौत हो गई। 


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