गुजरात सरकार का बड़ा फैसला: राशन कार्ड अब 'पहचान का प्रमाण' नहीं माना जाएगा
गुजरात सरकार ने राज्य के लाखों राशन कार्ड धारकों के लिए एक बड़ा फैसला लिया है। गुजरात सरकार के खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति विभाग ने एक परिपत्र जारी कर स्पष्ट किया है कि अब से राशन कार्ड का इस्तेमाल पहचान या निवास प्रमाण के तौर पर नहीं किया जा सकेगा।
विभाग द्वारा जारी परिपत्र के अनुसार, राशन कार्ड की वैधता अब केवल दो कार्यों तक सीमित होगी: 1. राशन प्राप्त करना 2. राज्य सरकार की सार्वजनिक वितरण प्रणाली (पीडीएस) के तहत सब्सिडी वाले खाद्यान्न प्राप्त करना।
सरकार के इस फैसले के कारण, नागरिक अब विभिन्न सेवाओं और दस्तावेजों के लिए अपना राशन कार्ड प्रस्तुत नहीं कर पाएंगे, जैसे:
- बैंक खाता खोलने के लिए,
- नया मोबाइल सिम कार्ड प्राप्त करने के लिए,
- सरकारी योजनाओं का लाभ उठाने के लिए,
- किसी भी अन्य आधिकारिक दस्तावेजीकरण प्रक्रिया के लिए।
अब
नागरिकों को पहचान और निवास के प्रमाण के लिए आधार कार्ड, पासपोर्ट, मतदाता पहचान पत्र या अन्य वैध सरकारी दस्तावेजों का उपयोग करना होगा।
निर्णय का उद्देश्य
इस सरकारी निर्णय का मुख्य उद्देश्य राशन कार्डो के दुरुपयोग को रोकना और यह सुनिश्चित करना है कि इसका मूल उद्देश्य - अर्थात गरीबों और जरूरतमंदों को सब्सिडी वाले खाद्यान्न का वितरण - ठीक से किया जाए।